- दममकल की दर्जन भर गाड़ियां आग बुझाने में सुबह से जुटी
- घनी आबादी के बीच उठी भयावह लपटों को देख मची अफरा-तफरी
- 4.30 पर पहुंची की गाड़ियां दोपहर 2.00 बजे तक आग बुझाने में जुटी रहीं
- संजय नगर कालोनी के (केसर बिहार) अब भी उठ रहा है आग का धुआं
- फैक्ट्री मालिक ने शार्ट सर्किट से आग लगने की आशंका जाहिर की
Yogesh Tripathi
Uttar Pradesh के Kanpur जनपद स्थित नौबस्ता थाना एरिया की बसंत बिहार चौकी से 100 की दूरी पर सेना और अर्धसैनिक बलों की वर्दी-टेन्ट बनाने वा’ली फैक्ट्री में गुरुवार की मध्य रात्रि को आग लग गई। आग की विकराल लपटों ने जमकर तबाही मचाई। घनी आबादी के बीच फैक्ट्री से जब आग की लपटें आसमान में उठने लगीं तो अफरा-तफरी फैल गई। दमकल की करीब दर्जन भर से अधिक गाड़ियों के साथ पहुंचे’ जवानों ने आग पर काबू पाने की कोशिश की लेकिन सफलता नहीं मिली। थोड़ी ही देर में SHO नौबस्ता की सूचना पर ACP भी ‘पहुंच गए।
चूंकि मामला सेना के साजो-सामान बनाने वाले कारखाने का था इस लिए खुफिया इकाइयां भी Alert हो गईं। दोपहर करीब 1’20.00 बजे दमकल के जवानों ने फैक्ट्री की दीवार को तोड़कर किसी तरह आग पर काबू पाया। समाचार लिखे जाने तक फैक्ट्री के अंदर से धुआं उठ रहा था। आग से कई लाख रुपए की संपत्ति का नुकसान होने की आशंका जाहिर की जा रही है।
फैक्ट्री मालिक सुनील से www.redeyestimes.com (News Portal) ने बात की तो उन्होंने बताया कि प्रथम दृष्टया शार्ट सर्किट से आग लगना प्रतीत हो रहा है। सुनील ने बताया कि सेना और अर्धसैनिक बलों की वर्दी के साथ-साथ फैक्ट्री में सेना से जुड़े अन्य ,सामान भी बनाए जाते थे। आग से हुए नुकसान के बाबत सुनील ने कहा कि काफी लंबा नुकसान हुआ है।
शुक्रवार सुबह करीब 4.00 बजे फैक्ट्री
के अंदर से आग की लपटें उठीं। मोहल्ले के कुछ लोगों की नींद खुल चुकी थी। फैक्ट्री
के अंदर से आग की लपटों को देख चीख-पुकार मची तो आसपास के लोगों ने सबमर्सिबल के
जरिए पानी की धार फैक्ट्री के अंदर छोड़कर आग पर काबू पाने की कोशिश की लेकिन आग
और बेकाबू हो गई। क्षेत्रीय लोगों की सूचना पर फैक्ट्री मालिक सुनील भी पहुंच गए।
थोड़ी देर में चौकी और थाने की फोर्स भी पहुंच गई। सूचना पर दमकल विभाग की दो
गाड़ियां पहुंची। दमकल के जवानों ने आग पर काबू पाने की कोशिश की लेकिन लपटों ने
भयावह रूप अख्तियार कर लिया। विकराल लपटें आसपास के मकानों की छत तक पहुंच गईं।
जिसकी वजह से अफरा-तफरी फैल रही।
पांच बजे तक दमकल की करीब आधा दर्जन गाड़ियां आग बुझाने में जुटी रहीं लेकिन आग की लपटें शांत नहीं हुई। थोड़ी देर में पुलिस के अधिकारी भी पहुंच गए। इस बीच दहशतजदा कुछ लोगों ने अपना घर खाली कर दिया और बाहर निकल आए। शुक्रवार की दोपहर करीब 12 बजे तक दमकल की करीब दर्जन भर गाड़ियां और 100 से अधिक जवान आग पर काबू पाने की जद्दोजहद करते रहे। सफलता न मिलने पर दमकल के जवानों ने फैक्ट्री की दीवार को तोड़ दिया। दीवार टूटने के बाद अग्निशमन की गाड़ियों से पानी की धार को अंदर डाला गया। तब कहीं जाकर आग की लपटें शांत हुईं। लेकिन दोपहर 2.00 तक फैक्ट्री के अंदर से धुआं उठता रहा।
क्षेत्रीय लोगों का आरोप है कि लंबे समय
से यह फैक्ट्री घनी आबादी के बीच संचालित हो रही थी। जिसकी शिकायत कई बार अफसरों
से की गई लेकिन कार्रवाई नहीं हुआ। जिसका परिणाम यह रहा है कि आज बड़ा हादसा
होते-होते बच गया। मोहल्ले के लोगों का कहना है कि आग यदि 1.00 से 200 के बीच लगी
होती तो तमाम लोग आग के चपेट में आ जाते। सुबह होने की वजह से तमाम लोग जग गए थे
जिसकी वजह से न सिर्फ आग की लपटों पर काबू पाने की कोशिश Start हो गई बल्कि लोगों ने सो रहे परिजनों को भी उठा दिया।
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