बाहुबली माफिया डॉन अतीक अहमद पर इन दिनों UP की Yogi सरकार खूब मेहरबान दिख रही है। यूपी सरकार ने अतीक अहमद को बरेली से नैनी सेंट्रल जेल में शिफ्ट करने का फैसला लिया है। गौरतलब है कि 2019 वर्ष की शुरुआत में ही अतीक अहमद को देवरिया की जेल से बरेली कारागार में लाया गया था। तब अतीक पर लखनऊ के एक कारोबारी को अगवा करवाकर देवरिया जेल में प्रताड़ना देने का आरोप लगा था। मीडिया रिपोर्ट्स की मानें तो योगी सरकार ने इसके लिए चुनाव आचार संहिता को ध्यान में रखते हुए अतीक को नैनी सेंट्रल जेल में शिफ्ट किए जाने के लिए चुनाव आयोग से अनुमति मांगी थी। अतीक का पूर्वांचल के कई जिलों में खासा रसूख है।
YOGESH TRIPATHI
तीसरे चरण में होना है मतदान
बरेली लोकसभा सीट पर तीसरे चरण में वोटिंग होनी है। तर्क दिया जा रहा है कि कानून व्यवस्था कायम रखने के लिए अतीक को शिफ्ट करने का फैसला लिया गया है। अतीक को प्रयागराज की नैनी सेंट्रल जेल में शिफ्ट किया जाएगा। खास बात ये है कि यहां पर छठवें चरण 12 मई को वोटिंग होनी है। तब तक अतीक यहीं पर रहेगा। गौर करने वाली बात ये है कि अतीक के पास से पहले भी कई बार जेल में मोबाइल फोन आदि बरामद हो चुके हैं।
अतीक जेल में बैठकर भी अपराधिक वारदात को अंजाम देने में पूरी तरह से सक्षम है। देवरिया जेल में बंद होने के दौरान अतीक के पास से मोबाइल और सिम मिले थे। अतीक अपने विरोधी अपराधियों से जेल में हिंसक झड़पों के लिए भी बदनाम है। प्रशासन के लिए अतीक जैसे अपारधियों को जेल में रखना भी किसी चुनौती से कम नहीं है। उस पर जेल के भीतर भी सिंडिकेट तैयार करने के आरोप लगे हैं और वह अंदर अपराध की साजिश रचता रहता है।
प्रयागराज में ही दर्ज हैं अतीक पर सबसे अधिक मुकदमें
यूपी के श्रावस्ती जनपद में जन्में अतीक अहमद पर यूं तो यूपी के कई जिलों में अपराधिक मुकदमें दर्ज हैं। प्रयागराज जिले में उसके खिलाफ सबसे अधिक अपराधिक मुकदमें रजिस्टर्ड हैं। अतीक अहमद 04 के लोकसभा चुनाव में समाजवादी पार्टी के टिकट पर फूलपुर लोकसभा से चुनाव लड़ा और सांसद बन गया। 07 में जब मायावती ने प्रदेश की बागडोर संभाली तो अतीक अहमद का साम्राज्य हिलने लगा। चौंकाने वाली बात ये है कि प्रदेश सरकार ये तर्क दे रही है कि बरेली जेल में रहने के दौरान वहां पर चुनाव के दौरान अतीक अहमद से शांति व्यवस्था को लेकर अधिक खतरा है। वहीं जानकार ये कह रहे हैं कि चुनावी लाभ लेने के लिए यूपी सरकार जान बूझकर अतीक को नैनी जेल में शिफ्ट कर रही है। गौरतलब है कि डेढ़ साल पहले हुए फूलपुर उपचुनाव में अतीक को करीब 65 हजार वोट मिले थे, तब वो बतौर निर्दलीय प्रत्याशी चुनाव लड़ा था।
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